Sri Uvasaggaharam Stotra | उवसग्गहरं स्तोत्र में विश्वकल्याण की भावना – शोभाताई आर धारीवाल
पुणे : Sri Uvasaggaharam Stotra | स्वयं के हित के लिए की हुई प्रार्थना मंदिर के दिवारों से टकराकर वापस आती है किंतु उवसग्गहरं स्तोत्र स्वार्थ के आधार पर नहीं बल्कि परमार्थ के आधार पर है। इस प्रार्थना का एक एक परमाणू जब वायूमंडल में फैलता है तब सभी विश्व का कल्याण ही कल्याण होता है। यह भावना आर एम डी फाऊंडेशन (RMD Foundation) की उपाध्यक्षा शोभाताई आर धारीवाल (Shobhatai Rasiklalji Dhariwal) ने व्यक्त की।
उन्होंने कहा कि, “जैनधर्मीय बांधव उवसग्गहरं स्तोत्र “महामंगलकारी स्तोत्र” होने की श्रध्दा रखते है। इस स्तोत्र के नियमित स्मरण से दृष्टग्रह, रोगपीड़ा, शत्रू आदि सांसारिक दु:ख पीड़ाएं दूर होती हैं तथा मनुष्य प्राणियों में सुख, समृध्दि प्राप्त होती है ऐसी धारणा है। इसलिए पिछले आठ वर्षों से स्तोत्र के आयोजन से समाज बांधवों में सकारात्मकता लाने तथा उन्हें एकत्रित रूप से जोड़ने हेतु प्रयास किए जा रहे हैं।”
25 अगस्त 2024, रविवार को शाम 4 से 5 के दौरान आचार्य पद्मश्री चंदनाजी म. सा. आणि पू . श्री सुप्रियदर्शनजीं म. सा. आदीठाणा – 5 की उपस्थिति में ‘उवसग्गहरं स्तोत्र’ सामूहिक पठण किया गया।
बिबवेवाड़ी स्थित श्रीमान रसिकलालजी एम धारीवाल स्थानक भवन यश लॉन्स में उक्त कार्यक्रम संपन्न हुआ। इस अवसर पर जैन -अजैन भक्त बड़ी संख्या में उपस्थित थे। आर एम डी फाऊंडेशन की अध्यक्षा जान्हवी धारीवाल बालन (Janhavi Dhariwal Balan), उपाध्यक्षा शोभाताई आर धारीवाल द्वारा स्तोत्र पठण का आयोजन किया जाता है।
इस अवसर पर आचार्य पद्मश्री चंदनाजी म . सा . ने उपस्थितों को मार्गदर्शन करते हुए कहा कि, जिस तरह से पानी में कंकर फेंकने से गोल गोल लहरें तैयार होती है। उसी तरह से उवसग्गहरं स्तोत्र पठण करने पर हमारे भीतर भी सकारात्मक लहर बनती है। इसका अनुभव आप को यहां प्राप्त होगा और आप यहां से निश्चित रूप से सकारात्मक उर्जा लेकर जाएंगे।
इस कार्यक्रम के लिए बालन ग्रुप Punit Balan Group (PBG) के अध्यक्ष युवा उद्यमी पुनीत बालन (Young Entrepreneur Punit Balan), आरएमडी स्थानक के अध्यक्ष पोपटशेठ ओसवाल तथा सभी पदाधिकारी, विविध जैन संस्थांओं के पदाधिकारी, प्रसिध्द उद्योजक, शोभाताई आर धारीवाल छात्रावास एफसी रोड, शोभाबेन आर धारीवाल छात्रालय डेक्कन तथा शोभाताई आर धारीवाल छात्रावास चिंचवड़ स्थित छात्र एवं छात्राएं , विविध गणेश मंडलों , आलंदी स्थित वारकरी संप्रदाय के भाविक तथा जैन- अजैन बंधू भगिनी उपस्थित थे। स्तोत्र पठण के पश्चात सभी भक्तों के लिए महाप्रसाद का आयोजन भी किया गया था।